2020 के बाद दुनिया में अग्रणी भूमिका निभा सकता हैं भारत

वर्तमान समय में विश्व कारोंना की माहमारी से जूझ रहा है और पूरी दुनिया में अफरातफरी के नजारे देखने को मिल रहे तब ऐसे में विचार आता है कि 2020 के बाद कि दुनियां कैसी होगी ?अब पूरे विश्व को आपनी कार्यप्रणाली बदलाव करने में अग्रसर होना पड़ेगा। ख़ासकर भारत जिसकी आबादी 130 करोड़ से ज्यादा है और देश में 25 से 45 वर्ष आयु के लोगो की संख्या विश्व के बाकी देशों के अनुपात में काफी ज्यादा है। हम सभी देशवासियों को आपनी जीवनशैली में बदलाव तत्काल ही लाना होगा और कारोंना महामारी से लड़ते हुए आगे बढ़ाना होगा।

अब बात उठती है ये होगा कैसे ?

  • आमजनता को सोशल डिस्टेंनसिंग, मास्क और स्वस्थ का ख्याल रखते हुए कार्य करना होगा।
  • व्यपारी को दुकानों में प्रशासन द्वारा निर्धारित सारे नियमों का पालन ही करना होगा नही तो लापरवाही के चलते पुनः लॉक डाउन की मार झेलनी पड़ेगी के लिए तैयार रहना होगा इसी सोच को लेकर विशेष सावधानी बरतनी होगी।
  • किसानों,मजदूरों को कार्य छमता बढ़ाने और कार्ययोजना का प्रशिक्षण दिया जाना बहुत जरूरी होगा, क्योंकि ये ही हमारे जीवन चक्र की रीढ़ की हड्डी है ,पुराने तौर तरीकों पर आवश्यक मूलभूत बदलाव किया जाने से देश आर्थिक रूप से मजबूत होगा।
  • उद्योग जगत जो कि हमारी अर्थव्यवस्था की लाइफलाइन है को नई टेक्नोलॉजी आपना कर उत्पादन छमता में अप्रत्याशित रूप से बढ़ोतरी करनी होगी वो भी काम स्टाफ में उत्पादन ज्यादा हो सके की मानसिकता के साथ।
  • एजुकेशनल इंसिट्यूट को भी आपने सिलेब्स और पाठ्यक्रम के अनुसार ज्यादा से ज्यादा ऑनलाईन या फिर कोचिंग क्लास रूम में शोशल डिस्टेंनसींग का पालन करते हुए पढाई की सुविधा उपलब्ध करानी होगी । और छात्रों को भी इसका ईमानदारी से पालन करना होगा।
  • कामकाजी, घरेलू कर्मचारियों को भी कार्यशैली बदलने की जरूरत महसूस हो रही है वे भी आपने घरों पर साफ़ सफाई ,सोशल डिस्टेंनसिंग, स्वस्थ परीक्षण के साथ साथ आपने कार्य क्षेत्र में संक्रमण सुरक्षा उपाय के साथ कार्य करने की आदत में लाना होगा ।
  • सर्विस इंड्रस्ट्री में कार्य करने वाले को ज्यादा सावधानियां बरतनी होगी क्योंकि वे ही ज्यादा संक्रमित होंगे एक तो पार्ट्स, दूसरा औजारों को बार बार छूना ,सहकर्मी के साथ कार्य करना,साथ ही साथ कार्य क्षेत्र में हुई गन्दगी पर विशेष ध्यान रखना जरूरी होगा ।
  • स्वास्थ्य जगत पर सबसे बड़ी जिम्मेदारी आएगी पूरी, स्वास्थ्य सेवाओं से जुड़े लोगो को मरीज के प्रति मानवीय संवेदनाओं को सर्वोच्च प्राथमिकता देनी होगी और मानवतावादी सोच रखनी ही होगी भौतिकतावादी नही ।
  • स्वयंसेवी संगठनों से जुड़े लोगों के प्रति हम सभी को सम्मान और आत्मिक भाव से पेश आने की जरूरत है क्योंकि वक्त है बहुत नाजुक ।
  • प्रशासन को समयानुसार पारदर्शिता लाने की हरसंभव कोशिश करनी होगी,हर किसी कर्मचारियों, अधिकारियों को अपनी अपनी तय जवाबदेही इमानदारी से करना ही होगा और सर्वोच्च अधिकारी को आपने अधीनस्थ कर्मचारियों की मॉनिटरिंग करनी होगी वो भी दो चार दिनों के अंतराल में कार्य के संपादन तक।
  • नेताओ और जनप्रतिनिधियों को भी जवाबदेही से आपने आपने क्षेत्र में आमजनों को हो रही समस्याओं की जानकारी प्राप्त कर त्वरित कार्यवाही के लिए सम्बंधित लोगो को समय सीमा में निराकरण करने के लिए निर्देशित और कार्य हुआ या नही की जानकारी लेने की ईमानदार सोच रखनी होगी ।
  • फिजूल आवागमन को रोकना ही होगा जिन्हें जरूरी है वे ही यात्रा करे अनावश्यक यात्रा पर रोक लगाने की जरूरत होगी।

तब 2021 में परिवर्तन दिखाई देगा की हम सीमित संसाधनों के साथ 130 करोड़ की आबादी होने के बाद ब भी हम सभी देशवासी उपरोक्त सभी बातों का ईमानदारी से पालन करते हैं तो निश्चित तौर पे हम 2021 से मजबूत और शक्तिशाली राष्ट्र का निर्माण करने में सफल होंगे मेरा मानना है कि अब वो भारत भारत नही रहा जहाँ लोगों को जागरूक करने में प्रशासन को एडिचोटि एक करनी पड़ती थी । मैंने लॉक डाउन के समय देखा की क्या मजदूर,क्या किसान, क्या बच्चे, क्या महिला और क्या बुजुर्ग सभी आपनी स्वस्थ सुरक्षा को पहले प्राथमिकता दे रहे है।
फिर निश्चित ही 2021 का भारत शक्तिशाली होगा-अर्थिक रूप से भी,खाद्यान्नों में भी, टेक्नोलॉजी में भी आत्मनिर्भर होते नजर आएगा ।

लेखक अतुल जैन , अतुल पब्लिसिटी रायपुर के संचालक हैं.

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